रीट लेवल दो के परीक्षा परिणाम को चुनौती देने वाली सभी याचिकाएं खारिज।

रीट लेवल दो के परीक्षा परिणाम को चुनौती देने वाली सभी याचिकाएं खारिज। अब हो सकेंगी 28 हजार शिक्षकों की भर्ती। बोर्ड सचिव मेघना च ौधरी की भूमिका से सरकार को बड़ी राहत।
=====
19 सितम्बर को हाईकोर्ट की जयपुर खंडपीठ के न्यायाधीश मोहम्मद रफीक और जस्टिस बड़जात्या ने उन सभी याचिकाओ को खारिज कर दिया, जिनमें शिक्षक पात्रता परीक्षा लेवक दो (रीट) की परीक्षा के परिणाम को चुनौती दी गई थी। दोनों न्यायाधीशोें का मानना रहा कि परिणाम के लिए राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने जो मापदंड निर्धारित किए हैं वे सही है। हाईकोर्ट के फैसले के साथ ही प्रदेश के 28 हजार बेरोजगारी को अब तृतीय श्रेणी शिक्षक के पद पर नौकरी मिल जाएगी। असल में पहले सिंगल बेंच में चुनौती दी। सिंगल बेंच ने भी याचिकाओं को खारिज कर दिया था। सिंगल बेंच का फैसला आते ही बोर्ड ने परिणाम की घोषणा कर दी और सरकार ने भी पात्र अभ्यर्थियों से दस्तावेज मांग लिए। रीट परीक्षा और बीएड के प्राप्तांकों के आधार पर ही मेरिट लिस्ट पंचायतीराज विभाग ने बनाई है। लेकिन डबल बेंच की सुनवाई को देखते हुए सरकार ने भर्ती प्रक्रिया को रोेक दिया था। लेकिन अब एक बार फिर 28 हजार बेरोजगारों को नौकरी मिल सकेगी।
सचिव की भूमिकाः
हाईकोर्ट में लगातार हो रही सुनवाई के दौरान शिक्षा बोर्ड की सचिव मेघना च ौधरी उपस्थित रहीं। हालांकि सरकार की ओर से महाधिवक्ता एनएम लोढा ने पैरवी की, लेकिन मेघना च ौधरी भी लगातार आवश्यक जानकारी वकीलों के माध्यम से कोर्ट तक पहुंचाती रही। सरकार के बड़े अधिकारी भी मानते हैं कि रीट परीक्षा के परिणाम को कानूनी झंझटांे से निकलवाने में मेघना की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। हाईकोर्ट में कमजोर पैरवी की वजह से राजस्थान लोक सेवा आयोग की अनेक परीक्षाएं और उनके परिणाम अटके पड़े हैं। लेकिन मेघना ने रीट की परीक्षा के परिणाम को अपनी प्रतिष्ठा से जोड़ लिया है। मालूम हो कि इस परीक्षा में प्रदेश के सात लाख 50 हजार अभ्यर्थियों ने भाग लिया था।
एस.पी.मित्तल) (19-09-18)
नोट: फोटो मेरी वेबसाइट www.spmittal.in
https://play.google.com/store/apps/details? id=com.spmittal
www.facebook.com/SPMittalblog
Blog:- spmittalblogspot.in
M-09829071511 (सिर्फ संवाद के लिए)
================================
अपने वाट्सएप ग्रुप को 7976585247 नम्बर से जोड़े
Print Friendly, PDF & Email

You may also like...