गहलोत-पायलट के मंत्रिमंडल में अजमेर संभाग के नागौर और भीलवाड़ा जिलों की उपेक्षा।

गहलोत-पायलट के मंत्रिमंडल में अजमेर संभाग के नागौर और भीलवाड़ा जिलों की उपेक्षा।
नागौर में 6 कांग्रेसी विधायकों में से एक को भी मंत्री नहीं बनाया।
======
24 दिसम्बर को राजस्थान में सीएम अशोक गहलोत और डिप्टी सीएम सचिन पायलट के 23 मंत्रियों ने शपथ ले ली। इनमें से 13 केबिनेट और 10 राज्यमंत्री हैं। लेकिन सबसे चैंकाने वाली बात अजमेर संभाग के नागौर जिले की है। नागौर में दस में से छह विधानसभा क्षेत्रों में कांग्रेस की जीत हुई। लेकिन एक भी कांग्रेसी विधायक को मंत्री नहीं बनाया गया। जबकि नावां के विधायक महेन्द्र च ौधरी दूसरी बार चुने गए हैं तथा जायल की विधायक श्रीमती मंजू देवी मेघवाल पहले मंत्री भी रह चुकी हैं। नागौर को जाट बहुल्य क्षेत्र माना जाता है। ऐसे में लोकसभा के चुनाव में नागौर की राजनीतिक उपेक्षा कांग्रेस को भारी पड़ सकती है। जब विधायकों को सीधे केबिनेट मंत्री बनाया जा सकता है तो फिर नागौर जैसे जिले के किसी विधायक को राज्यमंत्री क्यों नहीं बनाया जा सकता? जब नागौर के मतदाताओं ने कांग्रेस को भरपूर समर्थन दिया तो फिर सरकार के गठन में उपेक्षा क्यों? नागौर में भाजपा को मात्र दो सीट मिल पाई है, जबकि दो सीट पर हनुमान बेनीवाल की पार्टी के उम्मीदवार जीते हैं। कांग्रेस के जो विधायक जीते हैं उन्हें अब अपने विधानसभा क्षेत्र में जवाब देना मुश्किल होगा।
भीलवाड़ा से भी कोई मंत्री नहीं:
हालांकि भीलवाड़ा में 7 में से 2 सीटों पर ही कांग्रेस की जीत हुई है, लेकिन मंत्रिमंडल में भीलवाड़ा को भी प्रतिनिधित्व नहीं मिला है। हालांकि रामलाल जाट को मंत्री बनने की उम्मीद थी, लेकिन जाट की यह उम्मीद धरी रह गई। अजमेर संभाग के टोंक जिले का प्रतिनिधित्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट करेंगे, जबकि अजमेर की जिम्मेदारी केबिनेट मंत्री रघु शर्मा की होगी। देखा जाए तो अजमेर संभाग से दो ही विधायक मंत्री बने हैं। देखना होगा कि लोकसभा चुनाव में अजमेर संभाग में कांगे्रस को कितनी सफलता मिलती है।
एस.पी.मित्तल) (24-12-18)
नोट: फोटो मेरी वेबसाइट www.spmittal.in
https://play.google.com/store/apps/details? id=com.spmittal
www.facebook.com/SPMittalblog
Blog:- spmittalblogspot.in
M-09829071511 (सिर्फ संवाद के लिए)
==========
Print Friendly, PDF & Email

You may also like...