अब क्या मायने है कांग्रेस के जन घोषणा पत्र के ?

अब क्या मायने है कांग्रेस के जन घोषणा पत्र के ?
राहुल गांधी तो पहले ही कर चुके हैं घोषणाएं।
मैं स्वयं को पीएम पद का उम्मीदवार कैसे बता सकता हंू-राहुल।
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राजनीतिक दलों का चुनावी घोषणा पत्र कितना मायने रखता है इसका अंदाजा दो अप्रैल को जारी कांग्रेस के घोषणा पत्र से लगाया जा सकता है। पिछले दिनों प्रेस काॅन्फ्रेंस और चुनावी सभाओं में कांगे्रस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने जो बातें कहीं उन्हीं को घोषणा पत्र में शामिल किया गया है। कहा तो यह गया था कि आम लोगों की राय से घोषणा पत्र तैयार होगा, लेकिन घोषणा पत्र में उन्हीं बातों को शामिल किया गया है जो राहुल गांधी कहते रहे हैं। दो अप्रैल को भी राहुल गांधी ने घोषणा पत्र की पांच प्रमुख बताए गिनाई पहली देश के सबसे गरीब बीस प्रतिशत लोगों के खाते में प्रति वर्ष 72 हजार रुपए की राशि जमा होगी। राहुल ने कहा कि पांच वर्ष में तीन लाख साठ हजार रुपए जमा करा दिए जाएंगे। राहुल का कहना रहा कि पहले नोट बंदी और फिर जीएसटी की वजह से छोटे दुकानदार भी परेशान हो गए। बाजार में पैसे का अभाव हो गया। ऐसे मंदी के माहौल में जब गरीब व्यक्ति को 12 हजार रुपए प्रतिमाह नकद मिल जाएंगे तो वह बाजार में जाकर खरीददारी करेगा। इससे बाजार में भी रौनक आएगी। राहुल ने नारा दिया -गरीब पर वार – 72 हजार। राहुल ने दूसरी महत्वपूर्ण बात बताते हुए कहा कि इस समय 22 लाख सरकारी पद खाली पड़े हैं इन्हें मार्च 2020 तक भर दिया जाएगा। ग्राम पंचायतों में दस लाख लोगों को रोजगार दिया जाएगा। देश में रोजगार बढ़ाने के लिए किसी भी व्यापारी को अपने व्यापार के लिए तीन वर्ष तक कोई सरकारी लाइसेंस नहीं लेना पड़ेगा। इतना ही नहीं मनरेगा में अब 150 दिन रोजगार की गारंटी दी जाएगी। पहले यह सौ दिन की गारंटी थी। राहुल ने कहा कि मैं जो कहता हंू उसे पूरा करता हंू। राजस्थान, मध्यप्रदेश और छत्तसीगढ़ के विधानसभा चुनाव में मैंने किसानों के कर्ज माफी की घोषणा की थी और तीनों राज्यों में कांग्रेस की सरकार बनते ही किसानों के कर्ज माफ की घोषणा कर दी गई। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की सरकार बनने पर किसानों के लिए अलग से बजट का प्रावधान किया जाएगा। कर्ज न चुकाने वाले किसान पर कोई आपराधिक कार्यवाही नहीं होगी।
राहुल ने घोषणा पत्र की एक ओर महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि शिक्षा पर बजट का छह प्रतिशत खर्च किया जाएगा। राहुल ने प्रधानमंत्री की आयुष्मान भारत योजना को बेकार बताते हुए कहा कि उनकी सरकार सरकारी अस्पतालों को सुदृढ़ बनाएगी ताकि गरीबों का निःशुल्क इलाज हो सके। कांग्रेस पार्टी देश की सुरक्षा का महत्व समझते है इसलिए सुरक्षा को लेकर कोई सार्वजनिक घोषणा नहीं की जा रही। भाजपा ने देश को बांटने का काम  किया है, जबकि कांग्रेस देश को जोड़ने का काम करती है।
मैं स्वयं कैसे दावेदार: 
जन घोषणा पत्र के जारी होने के बाद एक पत्रकार ने राहुल गांधी से सवाल किया कि क्या हम देश के प्रधानमंत्री पद के दावेदार से संवाद कर रहे हैं? इस पर राहुल गांधी ने कहा कि मैं स्वयं प्रधानमंत्री पद का दावेदार होने की घोषणा कैसे कर सकता हंू। यह काम जनता करेगी इसलिए आपको इस सवाल का जवाब देश की जनता से लेना चाहिए।
एस.पी.मित्तल) (02-04-19)
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