जाति के आधार पर हिन्दू समाज में विघटन चिंता जनक। राम मंदिर पर जल्द मिलेगी खुशखबरी। संघ प्रमुख मोहन भागवत से विचार मंथन के बाद निम्बार्क पीठ के आचार्य ने कहा।
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27 सितम्बर को अजमेर के निकट सलेमाबाद स्थित जगद्गुरु निम्बार्क पीठ में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के सरसंघ चालक मोहन भागवत और पीठ के आचार्य श्यामशरण देवाचार्य के बीच देश के ज्वंलन मुद्दों पर विचार मंथन हुआ। इस अवसर पर संघ के दुर्गादास लिम्बाराम, हनुमान सिंह राठौड, अनिल भाई आदि के साथ-साथ राजनीतिक क्षेत्र से प्रदेश के स्कूली शिक्षा मंत्री वासुदेव देवनानी भी उपस्थित थे। इस विचार मंथन के बाद आचार्य श्यामशरण ने मीडिया को बताया कि भागवत ने जातिवाद के आधार पर हिन्दू समाज में हो रहे विघटन पर चिंता प्रकट की है। भागवत का कहना रहा कि हिन्दू समाज में विघटन न हो इसके लिए धर्माचार्यों साधू संतों को आगे आना चाहिए। धर्माचार्य जो कहते हैं उसका समाज पर असर होता है। आचार्य ने बताया कि आध्यात्म शिक्षा राम मंदिर जैसे मुद्दों पर भी भागवत के साथ चर्चा हुई। राम मंदिर के मुद्दे पर देशवासियों को जल्द ही खुश खबरी मिलेगी। उन्होंने कहा कि भारतीय संस्कृति को मजबूत करने में संघ महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। समाज के विभिन्न क्षेत्रों में संघ की सकारात्मक भूमिका है। इससे पहले संघ प्रमुख ने दिवंगत आचार्य राधासर्वेश्वर की समाधि पर पुष्पांजलि की। भागवत ने पीठ की धार्मिक गतिविधियों के बारे में भी जाना। मालूम हो कि निम्बार्क पीठ का वैष्णव सम्प्रदाय में खासा असर है। संघ प्रमुख की मुलाकात पीठ के आचार्य से होने को महत्वपूर्ण माना जा रहा है।