क्या टोंक में सचिन पायलट के सामने यूनुस खान भाजपा को मुसलमानों के वोट दिला पाएंगे? बासपा, शिवसेना आदि के उम्मीदवार भी मैदान में।
=========
राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष और कांग्रेस उम्मीदवार सचिन पायलट तथा सीएम वसुंधरा राजे की आंख के तारे व परिवहन-पीडब्ल्यूडी जैसे विभागों के केबिनेट मंत्री यूनुस खान ने 19 नवम्बर को भाजपा उम्मीद के तौर पर टोंक विधानसभा से नामांकन दाखिल कर दिया है। टोंक में करीब 2 लाख 22 हजार मतदाताओं में से 55 हजार मुसलमान और 32 हजार गुर्जर मतदाता नहीं होते तो पायलट यहां से चुनाव नहीं लड़ते। पायलट की उम्मीदवारी की घोषणा से पहले भाजपा ने अजीत सिंह मेहता को उम्मीदवार घोषित किया था। लेकिन पायलट की उम्मीदवारी के बाद भाजपा ने रणनीति बदली और यूनुस खान को उम्मीदवार बना दिया। अब सवाल उठता है कि क्या पायलट के सामने यूनुस खान भाजपा को वोट दिलवा पाएंगे? भाजपा के 200 उम्मीदवारों में यूनुस खान एक मात्र मुस्लिम उम्मीदवार हैं। यदि पायलट मुस्लिम बहुल्य टोंक से चुनाव नहीं लड़ते तो यूनुस का निर्वाचन क्षेत्र डीडवाना रहा है और उन्होंने डीडवाना से ही दावेदारी जताई थी, लेकिन भाजपा की राष्ट्रीय रणनीति के तहत डीडवाना से यूनुस का टिकिट काट दिया गया। सीएम वसुंधरा राजे को उम्मीद है कि यूनुस खान मुसलमान होने के नाते टोंक से मुसलमानों के वोट हासिल कर लेंगे। हालांकि 19 नवम्बर के नामांकन जुलूस में यूनुस के साथ टोंक के मुसलमान बहुत कम थे। 11 दिसम्बर को मतगणना के दिन पता चलेगा कि यूनुस को मुसलमानों के कितने वोट मिले हैं?
बसपा और शिवसेना भी मैदान मेंः
शिवसेना ने पांचूलाल सैनी और बसपा ने मोहम्मद अली को उम्मीदवार बनाया है। चूंकि टोंक में करीब 20 हजार माली मतदाता बताए जा रहे हैं, इसलिए शिवसेना के सैनी की उम्मीदवार को भी गंभीरता से लिया जा रहा है।
पायलट ने लिया देवी-देवताओं का आशीर्वादः
मुस्लिम बहुल्य होने की वजह से भले ही पायलट ने टोंक का चयन किया हो, लेकिन नामांकन से पहले पायलट देवी-देवताओं का आशीर्वाद भी ले रहे हैं। 18 नवम्बर को जम्मू स्थित माता वैष्णो देवी के दर्शन किए तो 19 नवम्बर को जयपुर में मोती डूंगरी स्थित गणेश मंदिर में आशीर्वाद लिया। सब जानते हैं कि पायलट कांग्रेस में सीएम पद के प्रमुख दावेदार हैं। पायलट को टोंक में ही घेरने के लिए सीएम राजे ने अपने सबसे भरोसेमंद मंत्री को दांव पर लगाया है।
यह चुनाव टोंक के विकास का है-पायलटः
नामांकन के मौके पर टोंक शहर में पायलट के समर्थकों ने बड़ा रोड शो भी किया। इस मौके पर पायलट ने कहा कि यह चुनाव कोई जाति के आधार पर नहीं हो रहा है बल्कि टोंक के विकास के नाम पर हो रहा है। उन्होंने कहा कि यह चुनाव मैं नहीं बल्कि टोंक के मतदाता खुद लड़ेंगे। उन्होंने भाजपा से भी आग्रह किया कि इस चुनाव को जातीय समीकरण से न देखा जाए।