मोदी-शाह के आचार संहिता के उल्लंघन के मामले चुनाव आयोग ही देखेगा।
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Sp mittal
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May 8, 2019
मोदी-शाह के आचार संहिता के उल्लंघन के मामले चुनाव आयोग ही देखेगा।
चौकीदार चोर है के कथन पर राहुल गांधी ने सुप्रीम कोर्ट में फिर माफी मांगी।
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8 मई को सुप्रीम कोर्ट ने कांग्रेस की नेत्री सुष्मिता सेन की उस याचिका का निस्तारण कर दिया जिसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमितशाह पर चुनाव आचार संहिता के मामले में कार्यवाही करने की मांग की गई थी। कोर्ट का कहना रहा कि आचार संहिता उल्लंघन के मामले में चुनाव आयोग को व्यापक अधिकार है और आयोग कार्यवाही क रने के लिए सक्षम है। इससे पहले आयोग ने सुप्रीम कोर्ट में मोदी और शाह के विरुद्ध प्राप्त शिकायतों और उन पर हुई कार्यवाही के बारे में जानकारी दी। आयोग का कहना रहा कि प्राप्त शिकायतों का परीक्षण करवाने के बाद निस्तारण किया गया है। 8 मई के सुप्रीम कोर्ट के निर्णय से साफ हो गया है कि कोर्ट अब आयोग के काम काज में कोई दखल करने का इच्छुक नहीं है। मालूम हो कि कांग्रेस की ओर से मोदी-शाह के विरुद्ध करीब सात शिकायतें दर्ज करवाई गई थी। आयोग ने पांच शिकायतों में दोनों को उल्लंघन का दोषी नहीं माना। आयोग की कथित पक्षपातपूर्ण कार्यवाही के विरोध में ही कांग्रेस ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था।
राहुल ने फिर माफी मांगी:
कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने 8 मई को सुप्रीम कोर्ट में शपथ पत्र प्रस्तुत कर चौकीदार चोर है के अपने कथन पर एक बार फिर बिना शर्त माफी मांगी। सुप्रीम कोर्ट के हवाले से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को चोर कहने को लेकर भाजपा की सांसद मिनाक्षी लेखी ने राहुल गांधी पर अवमानना का मामला दायर किया था। हालांकि इस मामले में राहुल ने पहले खेद जता दिया था, लेकिन राहुल ने जिस तरह से खेद प्रकट किया, उससे सुप्रीम कोर्ट संतुष्ट नहीं हुआ। राहुल के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने मौखिक तौर पर कहा था कि राहुल गांधी बिना शर्त माफी मांग लेंगे। इस कथन के आधार पर ही 8 मई को राहुल की ओर से माफीनामा प्रस्तुत किया गया है। अब इस मामले में दस मई को सुनवाई होगी। इस मामले के साथ ही राफेल सौदे की भी सुनवाई की जाएगी। राहुल गांधी सार्वजनिक तौर पर भी कहा चुके हैं कि सुप्रीम कोर्ट के हवाले से चौकीदार चोर है की जो बात कही थी वह मेरी गलती है। अब देखना होगा कि बिना शर्त माफी पर सुप्रीम कोर्ट क्या निर्णय देता है।