आबकारी विभाग की सख्ती के विरोध में अजमेर जिले में शराब की दुकानें बंद रहीं। 

आबकारी विभाग की सख्ती के विरोध में अजमेर जिले में शराब की दुकानें बंद रहीं।
काश! हमेशा के लिए बंद हो जाएं, शराब की दुकानें।
भाजपा और कांग्रेस के नेता एक समान। 

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आबकारी विभाग की सख्ती के विरोध में 27 अगस्त को अजमेर जिले में अंग्रेजी शराब की दुकानें बंद रही। शहर में 38 और जिले भर में 120 दुकानें हैं। शराब के कारोबार में भाजपा और कांगे्रस के नेता भी जुड़े हुए हैं, इसलिए बंद के दौरान ऐसे नेता सक्रिय दिखे। शराब विक्रेताओं के प्रतिनिधि माने जाने वाले राजेन्द्र नरचल, जीतेन्द्र रंगवानी, महेन्द्र सिंह रजावत, प्रदीप भारद्वाज आदि ने आरोप लगाया कि एमआरपी से अधिक राशि वसूलने की आड़ में दुकानों के लाइसेंस सीमित अवधि के लिए निलंबित किए जा रहे हैं। एक दिन पहले ही सुभाष नगर क्षेत्र के लाइसेंसधारी फूलचंद टाक व सौरभ सिमलोत तथा रामगंज में कालूराम की दुकान का लाइसेंस तीन दिन के लिए निलंबित किया जा रहा है। इसी प्रकार अमित कांगवा की दुकान का लाइसेंस तो स्थायी तौर पर निलंबित किए जाने की कार्यवाही हो रही है। आबकारी विभाग ने 14 दुकानों को अधिक राशि लेने का दोषी माना हैै। असल में खुल्ले पैसे नहीं होने की वजह से सेल्समैन अधिक राशि ले लेता है, इसलिए एमआरपी रेट राउंड फीगर में लेने की छूट मिले। विक्रेताओं के प्रतिनिधियों ने कहा कि पूर्व में सरकार ने 20 प्रतिशत तक मार्जिन मनी देने का वायदा किया था, लेकिन अभी तक 12 प्रतिशत ही मार्जिन मनी दी जा रही है। दुकानों व समूहों की त्रैमासिक गारंटी लिफ्टिंग की शर्त को भी हटाने की मांग की है।
काश! हमेशा के लिए बंद हो दुकानें:
भले ही अपनी मांगों को लेकर लाइसेंसधारी विक्रेताओं ने एक दिन के लिए शराब की दुकानें बंद की हो, लेकिन यदि शराब की दुकानें हमेशा के लिए बंद हो जाएं तो समाज के लिए अच्छा रहेगा। राजस्थान में पूर्ण शराबबंदी की मांग होती रही है। मौजूदा सीएम अशोक गहलोत की छवि भी गांधीवादी है। गहलोत स्वयं भी शराब बंदी के पक्ष में हैं। जब विपक्ष में होते हैं तो मांग भी करते हैं, लेकिन जब मुख्यमंत्री बन जाते हैं तो सरकार को प्राप्त होने वाले राजस्व का मोह नहीं छोड़ पाते हैं। गहलोत तीसरी बार सीएम बने हैं। यदि शराब की दुकानें बंद हो जाएं तो सबसे ज्यादा राहत परिवार की महिलाओं को मिलेगी। जिस परिवार के पुरुष सदस्य शराब पीते हैं उस परिवार की महिलाओं को अनेक परेशानियों से गुजरना होता है। शराब पीने से शरीर में होने वाली बीमारियों के इलाज पर भी भारी राशि खर्च होती है। कई लोगों की तो शराब पीने से मौत भी हो जाती है।
एस.पी.मित्तल) (27-08-19)
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