पुष्कर तीर्थ के महत्व की वजह से सुरेश रावत कैबिनेट मंत्री बने। अनिता भदेल के मंत्री बनने में पांच बार की विधायकी ही रोड़ा बनी। अजमेर डेयरी के अध्यक्ष चौधरी के दामाद सुमित गोदारा भी मंत्री बने।
पुष्कर से लगातार तीसरी बार के विधायक सुरेश रावत को भी 30 दिसंबर को भाजपा सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाया गया है। यंू तो भाजपा के कई विधायक हैं जो तीसरी बार विधायक बने, लेकिन सुरेश रावत को कैबिनेट मंत्री बनाने के पीछे पुष्कर का धार्मिक महत्व होना भी है। भाजपा की हिंदुत्ववादी छवि के मद्देनजर पुष्कर तीर्थ का खास महत्व है। यह दिखाने का प्रयास किया गया है कि पुष्कर तीर्थ के विधायक को भी कैबिनेट मंत्री बनाया गया है। माना जाता है कि सृष्टि के रचयिता ब्रह्माजी ने पुष्कर में यज्ञ किया था। जिस स्थान पर यज्ञ किया उसी पर आज पवित्र सरोवर बना हुआ है। इस सरोवर में स्नान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है। इसे राजनीति का संयोग ही कहा जाएगा कि सुरेश रावत ने तीनों बार कांग्रेस की मुस्लिम प्रत्याशी श्रीमती नसीम अख्तर को हराया है। पुष्कर अजमेर जिले में आता है और जिले से श्रीमती अनिता भदेल पांचवीं बार, ब्यावर से शंकर सिंह रावत चौथी बार तथा रामस्वरूप लांबा व शत्रुघ्न गौतम दूसरी बार विधायक बने हैं। लेकिन इन सभी विधायकों की अनदेखी कर सुरेश रावत को कैबिनेट मंत्री बनाया गया। सुरेश रावत की राजनीति अपनी जगह है, लेकिन मंत्री बनाने के पीछे सबसे बड़ा आधार पुष्कर का धार्मिक महत्व है। मंत्री बनने के बाद रावत ने कहा भी है कि उनकी सर्वोच्च प्राथमिकता पुष्कर का चहुंमुखी विकास करना होगा। मंत्री का दायित्व वे पुष्कर राज की सेवा कर निभाएंगे। पुष्कर राज के आशीर्वाद की वजह से ही उन्हें मंत्री बनने का अवसर मिला है।
मंत्री बनने में रोड़ा:
न्यूज चैनल वाले 30 दिसंबर को दोपहर तीन बजे तक अजमेर दक्षिण क्षेत्र की भाजपा विधायक अनिता भदेल के मंत्री बनने की खबर प्रसारित कर रहे थे, लेकिन जब सवा तीन बजे मंत्रियों ने एक एक कर शपथ ली तो पता चला कि भदेल को मंत्री नहीं बनाया गया है। अनिता भदेल मंत्री बनने के सभी मापदंडों पर खरी उतरती है। भदेल भाजपा में अनुसूचित जाति का चेहरा होने के साथ साथ महिला भी हैं। लेकिन ऐसा प्रतीत होता है कि लगातार पांचवीं बार विधायक बनना मंत्री बनने में सबसे बड़ा रोड़ा रहा। इस बार भाजपा की नौ महिला विधायक हैं। सांसद दीया कुमारी को पहले ही डिप्टी सीएम बना दिया गया। 30 दिसंबर को नागौर की जायल सीट की विधायक डॉ. मंजू बाघमार को मंत्री पद की शपथ दिलाई गई। यदि अनिता भदेल पांच बार की विधायक नहीं होती तो उन्हें भी मंत्री बना दिया जाता। आमतौर पर राजनीति में वरिष्ठता को महत्व मिलता है, लेकिन भाजपा में बदलती राजनीति के कारण नए चेहरों को अवसर दिया जा रहा है। अब देखना होगा कि श्रीमती भदेल की भाजपा की राजनीति में क्या भूमिका होती है।
चौधरी के दामाद भी मंत्री:
अजमेर डेयरी के अध्यक्ष रामचंद्र चौधरी के दामाद सुमित गोदारा को भी तीस दिसंबर को भाजपा सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाया गया है। गोधरा बीकानेर के लूणकरणसर से दूसरी बार विधायक बने हैं। भाजपा की राजनीति में गोदारा को केंद्रीय मंत्री अर्जुनराम मेघवाल का समर्थक माना जाता है। गोदारा ने भाजपा में जो मेहनत की उसी का परिणाम है कि उन्हें मंत्री बनाया गया है। गोदारा के मंत्री बनने पर रामचंद्र चौधरी को भी बधाईयां मिल रही है।
S.P.MITTAL BLOGGER ( 31-12-2023)
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