राजस्थान में अवैध खनन और बजरी माफियाओं के खिलाफ सीबीआई का जांच से इंकार। पुलिस ही करवा रही है अवैध खनन-भाजपा विधायक अजय किलक।
3 मार्च को राजस्थान हाईकोर्ट जयपुर में न्यायाधीश समीर जैन की अदालत में सीबीआई की ओर से कहा गया है कि अवैध खनन और बजरी माफियाओं के दर्ज प्रकरणों की जांच करने में असमर्थ है। सीबीआई की ओर से कहा गया है कि आरोपियों के खिलाफ सबूत एकत्रित करने में राजस्थान पुलिस का सहयोग नहीं मिल रहा है। हालांकि सीबीआई की इस लाचारी पर न्यायाधीश जैन ने तत्काल कोई टिप्पणी नहीं की, लेकिन 17 मार्च को सीबीआई के निदेशक को अदालत में तलब किया है। निदेशक व्यक्तिगत अथवा वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से उपस्थित हो सकते हैं। 3 मार्च को हाईकोर्ट में सीबीआई ने जो कहा उससे राजस्थान पुलिस की कार्य प्रणाली पर सवाल उठते हैं। इस गंभीर मामले में आग में घी डालने का काम सत्तारूढ़ भाजपा के विधायक और पूर्व मंत्री अजय किलक ने किया है। 3 मार्च को ही विधानसभा में गृह विभाग की अनुदान बहस के दौरान किलक ने अपने निर्वाचन जिले नागौर के पुलिस अधीक्षक और थांवला के थानाधिकारी सूरजमल पर गंभीर आरोप लगाए। किलक ने कहा कि वन विभाग के अधिकारी ने अवैध बजरी खनन की लिखित में शिकायत दी, लेकिन फिर भी आरोपियों के विरुद्ध पुलिस कोई कार्यवाही नहीं कर रही है। जिस वन अधिकारी ने शिकायत की उसे ही डराया धमकाया जा रहा है। पुलिस अवैध खनन रोकने के बजाए अवैध खनन करने वालों को ही संरक्षण दे रही है। यानी हाईकोर्ट से लेकर विधानसभा तक में राजस्थान पुलिस पर गंभीर आरोप लगाए जा रहे है। ऐसे आरोप कांग्रेस अथवा विपक्ष के किसी नेता की ओर से नहीं बल्कि सरकारी संस्था और सत्तारूढ़ विधायक की ओर से ही लगाए जा रहे है, यह दावा किया जाता है कि राजस्थान में डबल इंजन की सरकार है, लेकिन इन्हीं दावों के बीच हाईकोर्ट में सीबीआई और विधानसभा में सत्ताधारी दल के विधायक के आरोप बेहद गंभीर है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा माने या नहीं, लेकिन सीबीआई और भाजपा विधायक के कथन से डबल इंजन की सरकार की छवि खराब हो रही है।
S.P.MITTAL BLOGGER (04-03-2025)Website- www.spmittal.inFacebook Page- www.facebook.com/SPMittalblogFollow me on Twitter- https://twitter.com/spmittalblogger?s=11Blog- spmittal.blogspot.comTo Add in WhatsApp Group- 9166157932To Contact- 9829071511