अजमेर के मित्तल ऑर्गेनिक्स फूड प्रोडक्ट्स से जुड़ कर स्व-रोजगार के साथ-साथ आत्मनिर्भर भारत का सपना भी साकार किया जा सकता है।आईआईटीएल इंजीनियर सार्थक मित्तल की एक सार्थक पहल
क्या आप आत्मनिर्भर भारत को सपना साकार करना चाहते हैं? क्या आप रोजगार प्राप्त करना चाहते हैं? क्या आप लोगों के स्वास्थ्य को ख्याल रखना चाहते हैं। क्या आप मामूली निवेश से अपना कारोबार करना चाहते हैं? तो आपको मित्तल ऑर्गेनिक्स डॉटकॉम की वेबसाइट पर क्लिक करना होगा। वेबसाइट और ऑगेनिक्स फूड प्रोडक्ट्स के बारे में अधिक जानकारी मोबाइल नम्बर 99299 99094 पर भी ली जा सकती है। अजमेर के आईआईटीएल सार्थक मित्तल चाहते तो अपने पिता के करोड़ों के कारोबार में शामिल हो सकते थे या फिर लाखों के पैकेज में विदेश में नौकरी कर सकते थे, लेकिन मित्तल ने अपने नाम को सार्थक करते हुए समाज में नया करने की ठानी। व्यापक अध्ययन के बाद सार्थक ने अपनी ऑर्गेनिक्स फूड प्रोडक्ट्स को भारत और अमेरिका में एक साथ रजिस्टर्ड करवाया। यानि जो फुड प्रोडक्ट्स भारत में बिकेंगे वही प्रोडक्ट्स अमरीका में भी। इससे प्रोडक्ट्स की गुणवत्ता का अंदाजा लगाया जा सकता है। अमरीका का स्वास्थ्य के प्रति सख्य रवैया है, लेकिन सार्थक मित्तल ने अपने फूड प्रोडक्ट्स को अमरीका की स्वास्थ्य एजेंसियों के मापदंडों पर खरा उतरवाया। सार्थक मित्तल ने बताया कि राजस्थान और सम्पूर्ण भारत में कोई भी व्यक्ति उनके आर्गेनिक्स फूड के पैकिट मंगवा अपना कारोबार कम निवेश में शुरू कर सकता है। यदि किसी युवा ने 50 घरों में भी सम्पर्क कर लिया तो वह प्रतिमाह 25 हजार रुपए तक आसानी से कमा सकता है। इस काम को महिलाओं भी आसानी से कर सकती है। आने वाला समय ऑर्गेनिक्स फूड्स का ही होगा। कोरोना ने लोगो को स्वास्थ्य के प्रति जागरूक किया है। चिकित्सकों का भी मानना है कि दूषित खाद्य सामग्री से अनेक बीमारियाँ होती है। अधिक कमाई के लालच में पहले जमीन में केमिकल युक्त खाद डाली जाती है और फिर फसल पर जहरीला केमिकल छिड़का जाता है। ऐसी फसल स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होती है। जबकि ऑर्गेनिक्स खेती से तैयार खाद्य सामग्री शुद्ध होती है। बहुत कम लोगों को पता होगा कि ऑर्गेनिक्स यानि जैविक खेती के लिए तीन साल का इंतजार करना पड़ता है। यूरिया जैसी खाद के प्रयोग से जमीन भी जहरीली हो जाती है। विशेषज्ञों का मानना है कि लगातार तीन वर्षों तक जैविक खेती के बाद फसल ऑर्गेनिक्स होती है। मित्तल ऑगेनिक्स फूड प्रोड्क्ट्स उस फसल से तैयार किए गए हैं जिन्हें तीन वर्ष पूरे हो गए हैं। जैविक खेती पर सरकार की भी निगरानी होती है ताकि कोई व्यक्ति जैविक खेती के नाम पर गुमराह नहीं करे। सार्थक ने बताया कि परिवार की रसोई में काम आने वाली सभी खाद्य सामग्री उपलब्ध है। डेयरी के अधिकांश प्रोड्क्ट्स भी उपलब्ध हैं। आम व्यक्ति भी वेबसाइट के माध्यम से ऑर्गेनिक्स फूड मंगवा सकता है। आने वाले दिनों में जैविक खेती के लिए किसानों को जागरुक किया जाएगा। कोई भी व्यक्ति मोबाइल नम्बर 99299 99094 पर कॉल कर उनसे भी बात कर सकता है। सार्थक को मानना है कि आने वाला समय भारतीय युवाओं का है। इससे ऑनलाइन कारोबार की महत्वपूर्ण भूमिका होगी। यहाँ पर उल्लेखनीय है कि सार्थक मित्तल अजमेर के मित्तल अस्पताल के निदेशक मनोज मित्तल के पुत्र हैं जो अपने पिता के कारोबार से अलग होकर नया करना चाहते हैं। S.P.MITTAL BLOGGER (12-03-2021)
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