अब बनाया जाएगा अजमेर को स्मार्ट शहर। आनासागर से मिट्टी भी निकलेगी। गर्मी के दिनों में भी 48 घंटे में पेयजल की सप्लाई। सरकारी होटल का नाम बदलने से ही इनकम बढ़ गई। विकास के विभिन्न कार्य पर 2 हजार करोड़ खर्च होंगे-देवनानी।

अजमेर उत्तर क्षेत्र के भाजपा विधायक और राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने कहा कि पिछली कांग्रेस सरकार के गलत निर्णयों के कारण भले ही अजमेर में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट सफल न हो पाया हो, लेकिन अब अजमेर शहर को स्मार्ट बनाने का काम शुरू हो गया है। राज्य की भाजपा सरकार ने विभिन्न विकास कार्यों के लिए दो हजार करोड़ रुपए की राशि स्वीकृत की है। इसमें अजमेर के चारों तरफ रिंग रोड, कोटड़ा में पचास बैड का अस्पताल, आयुर्वेद यूनिवर्सिटी, कन्वेंशन सेंटर, पचास हजार की क्षमता वाला स्टेडियम, इंजीनियरिंग कॉलेज को आईआईटी के अनुरूप बनाने, आधुनिक बस स्टैंड का निर्माण, ड्रेनेज सिस्टम को सुधारने जैसे कार्य किए जाएंगे। देवनानी ने कहा कि अजमेर को पर्यटन केंद्र बनाने के लिए 150 करोड़ रुपए की राशि खर्च की जाएगी। वरुण सागर को पर्यटन का प्रमुख केंद्र बनाया जाएगा। देवनानी ने बताया कि जलदाय विभाग के इंजीनियरों को निर्देश दिए गए है कि गर्मी के दिनों में भी 48 घंटे में पेयजल की सप्लाई को बरकरार रखा जाए। अजमेर शहर की पेयजल की समस्या के निदान के लिए 600 करोड़ रुपए खर्च होंगे। गर्मी के दिनों में बिजली की वजह से पेयजल सप्लाई बाधित न हो, इसके लिए पंप हाउस पर अतिरिक्त ट्रांसफार्मर लगाए गए हैं। अधिकारियों को हिदायत दी गई है कि पेयजल सप्लाई में कोई कोताही न बरती जाए। अजमेर शहर के हाथी भाटा के दफ्तर में गैस आधारित जीएसएस स्थापित किया जाएगा। ताकि शहरवासियों को बिजली कटौती का सामना न करना पड़े। देवनानी ने मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा और वित्त मंत्री दीया कुमारी का आभार जताया है कि विकास के जो कार्य उन्होंने बताए उन सभी को मंजूर किया गया। 

आनासागर से मिट्टी निकलेगी:
देवनानी ने आनासागर की दुर्दशा पर अफसोस जताया। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में जो मामला विचाराधीन है उस पर तो वह कोई टिप्पणी नहीं करेंगे, लेकिन जनप्रतिनिधि होने के नाते उनका दायित्व है कि आनासागर झील का संरक्षण हो। उन्होंने माना कि पिछली कांग्रेस सरकार में ऐसे कई निर्णय हुए जिसकी वजह से आनासागर की भराव क्षमता कम हुई। इंजीनियरों की नासमझी की वजह से जो निर्माण हुए उनके लिए लाखों टन मिट्टी आनासागर में डाली गई। आज भी वो मिट्टी जमा पड़ी है। कायदे से इंजीनियरों को मिट्टी को उसी समय निकालना चाहिए था। उनका प्रयास है कि आनासागर से बड़ी मात्रा में मिट्टी को निकाला जाए। ताकि ज्यादा पानी भर सके। उन्होंने कहा कि आनासागर के किनारे जो पाथवे बना हुआ है उसे कई जगहों पर जिक जैक का रूप दिया गया है। बेवजह बनाए गए जिक जेक भी हटाए जाएंगे। रीजनल कॉलेज के सामने चल रही दुकानों, रेस्टोरेंट, शोरूम समारोह स्थल आदि को हालांकि सीज कर दिया गया है, लेकिन वे चाहते हैं कि ऐसे अवैध निर्माण तुरंत प्रभाव से हट जाए और पहले की तरह आनासागर का पानी सड़क के किनारे आ जाए। इस संबंध में अधिकारियों को निर्देश भी दिए गए है। उन्होंने कहा कि नालों का पानी आनासागर में न गिरे, इसके लिए सीवरेज सिस्टम को ठीक किया जा रहा है। जल्द ही सीवरेज का पानी ट्रीटमेंट प्लांट तक पहुंचने लगेगा, फिर साफ पानी आनासागर में आएगा। जयपुर रोड से आने वाले प्रवेश द्वार को सुगम और आकर्षक बनाने के निर्देश भी दिए  गए हैं। उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में अजमेर शहर का नया नजारा देखने को मिलेगा। 

होटल की इनकम में वृद्धि:
देवनानी ने कहा कि उन्हीं की पहल पर फायसागर का नाम वरुण सागर, किंग एडवर्ड मेमोरियल होटल का नाम स्वामी दयानंद सरस्वती विश्रांति गृह तथा होटल खादिम का नाम होटल अजयमेरु रखा गया। आरटीडीसी के अधिकारियों ने बताया कि नाम बदलने के बाद से ही होटल अजयमेरु की इनकम में वृद्धि हो गई है। उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में कुछ और संस्थानों के नाम बदले जाएंगे। 
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