प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की स्मार्ट सिटी योजना पर मिट्टी डालने के लिए अब राजस्थान की कांग्रेस सरकार बनाएगी अजमेर को मॉडल सिटी टाउन।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की स्मार्ट सिटी योजना पर मिट्टी डालने के लिए अब राजस्थान की कांग्रेस सरकार बनाएगी अजमेर को मॉडल सिटी टाउन। विकास में ऐसे होती है राजनीति। 
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13 मई को राजस्थान सरकार के स्वायत्त शासन विभाग के प्रमुख सचिव सिद्धार्थ महाजन की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय बैठक हुई। पुष्कर के एक पांच सितारा होटल में हुई, इस बैठक में फैसला लिया गया कि अब अजमेर को मॉडल सिटी टाउन के तौर पर तैयार किया जाएगा। राजस्थान में इस समय अशोक गहलोत के नेतृत्व में कांग्रेस की सरकार है। सब जानते हैं कि आईएएस लॉबी राज्य सरकार के इशारे पर ही काम करती है। सीएम गहलोत कभी नहीं चाहेंगे कि जो योजना प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुरू की है उसे आगे बढ़ाया जाए। यही वजह है कि अब गहलोत सरकार के अफसर अजमेर को मॉडल सिटी बनाने में जुट गए हैं। ऐसी कवायद इसलिए हो रही है ताकि मोदी की स्मार्ट सिटी योजना को फेल या बंद किया जाए। मोदी ने प्रधानमंत्री बनते ही देश के तीन शहरों को स्मार्ट सिटी बनाने की घोषणा की थी। तीन शहरों में अजमेर भी शामिल है। कोई दो हजार करोड़ रुपए का प्रावधान भी किया गया। स्मार्ट सिटी योजना के अंतर्गत ही आनासागर झील के चारों तरफ पाथ-वे का निर्माण हो रहा है तथा 250 करोड़ की लागत से ऐलीवेटेड रोड बन रहा है। आनासागर स्केप चैनल की मरम्मत और प्रमुख नालों को ढकने के कार्य हो रहे हैं। 2000 करोड़ की स्मार्ट सिटी योजना में अभी मुश्किल से 500 करोड़ रुपए ही खर्च हुए हैं। यानि अभी डेढ़ हजार करोड़ खर्च और किए जा सकते हैं। लेकिन ऐसा प्रतीत होता है कि गहलोत सरकार अब नरेन्द्र मोदी की स्मार्ट सिटी योजना को रोक कर मॉडल सिटी टाउन योजना शुरू हरेगी। हो सकता है कि कांग्रेस सरकार अपानी मॉडल सिटी टाउन योजना का खर्च मोदी की स्मार्ट सिटी योजना में से ही करें। जिन सिद्धार्थ महाजन ने मॉडल सिटी को लेकर बैठक की वो ही सिद्धार्थ महाजन स्मार्ट सिटी योजना के चेयरमैन भी हैं। अजमेर आने के बाद भी सिद्धार्थ महाजन ने स्मार्ट सिटी योजना के कार्यों की कोई समीक्षा नहीं की। महाजन को भी पता है कि अब यदि वे केन्द्र सरकार की स्मार्ट सिटी पर फोकस करेंगे तो स्वायत्त शासन विभाग के शासन सचिव के महत्वपूर्ण पद पर एक मिनट भी नहीं रहेंगे।
विकास में राजनीति:
विकास में राजनीति करने में कोई सरकार पीछे नहीं रहती है। सचिन पायलट जब यूपीए सरकार में मंत्री थे, तब उन्होंने अजमेर के लिए स्लम फ्री सिटी योजना दी थी। ताकि कच्ची और पिछड़ी बस्तियों में विकास के कार्य हो सके। इसके लिए नगर निगम को धनराशि भी मिल गई थी, लेकिन 2013 में वसुंधरा राजे के नेतृत्व में प्रदेश में भाजपा की सरकार बनते ही स्लम फ्री सिटी योजना पर मिट्टी डाल दी गई। अब वो ही कार्य गहलोत सरकार कर रहे हैं। यानि विकास के मद्दे पर राजनीति करने में भाजपा और कांग्रेस एक जैसे हैं। अब देखना है कि मोदी की स्मार्ट सिटी योजना का अजमेर में क्या हाल होता है।
एस.पी.मित्तल) (14-05-19)
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