जयपुर में सीएम हाउस में बनी केन्द्र की मोदी सरकार के खिलाफ रणनीति।
जयपुर में सीएम हाउस में बनी केन्द्र की मोदी सरकार के खिलाफ रणनीति।
भारत बचाओ रैली में राजस्थान से 50 हजार कांग्रेसी भाग लेंगे।
भीड़ की निगरानी स्वयं मुख्यमंत्री अशोक गहलोत करेंगे।
1 दिसम्बर को जयपुर में सिविल लाइन स्थित सीएम हाउस में सरकार के मंत्रियों, संगठन के प्रदेश पदाधिकारियों एवं कांग्रेस के प्रदेश भर के जिलाध्यक्षों की एक संयुक्त बैठक हुई। इस बैठक में खासतौर से सीएम अशोक गहलोत, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सचिन पायलट, कांग्रेस के प्रभारी महासचिव अविनाश पांडे उपस्थित रहे। बैठक में सीएम गहलोत ने कहा कि एनडीए सरकार की वजह से देश में लोकतंत्र को खतरा हो गया है। इसलिए कांगे्रस की राष्ट्रीय अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी के आह्वान पर 14 दिसम्बर को दिल्ली में भारत बचाओ रैली की जा रही है। इस रैली में देश भर के कांग्रेस कार्यकर्ता भाग लेंगे, लेकिन वे चाहते हैं कि राष्ट्रीय रैली में राजस्थान के कांग्रेसी सबसे ज्यादा हो। गहलोत ने कहा कि रैली में राजस्थान से कम से कम पचास हजार कार्यकर्ता उपस्थित रहने चाहिए। बैठक में एक-एक जिलाध्यक्ष से गहलोत ने स्वयं संवाद किया और कहा कि वे स्वयं भीड़ की निगरानी करेंगे और यह देखेंगे कि किस जिले से कितने कार्यकर्ता रैली में भाग ले रहे हैं। गहलोत ने कहा कि दिल्ली से सटे राजस्थान के अलवर भरतपुर, सीकर, झुंझुनूं, दौसा, जयपुर आदि से ज्यादा से ज्यादा कार्यकर्ता दिल्ली पहुंचने चाहिए। उन्होंने कहा कि इसके लिए जिला प्रभारी मंत्री तीन से पांच दिसम्बर के बीच अपने अपने जिलों में जाकर कार्यकर्ताओं से संवाद करेंगे। गहलोत ने कहा कि सर्दी के मौसम को ध्यान में रखते हुए दूर दराज के जिले बांसवाड़ा, डूंगरपुर, जोधपुर, जैसलमेर आदि के कार्यकर्ता ट्रेनों से ही दिल्ली पहुंचे। ट्रेनों में आरक्षण अभी से करवा लिया जाए। हालांकि बैठक में प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सचिन पायलट भी मौजूद थे, लेकिन दिल्ली रैली की तैयारियों की कमान सीएम गहलोत ने स्वयं ही संभाले रखी। सीएम हाउस में कांग्रेस के जिला अध्यक्षों की बैठक होने से गदगद नजर आए प्रदेश अध्यक्ष पायलट ने कहा कि आज केन्द्र की मोदी सरकार की नीतियों से आम आदमी त्रस्त है। केन्द्र सरकार का ध्यान आकर्षित करने के लिए ही दिल्ली रैली की जा रही है। जिलाध्यक्षों को दिल्ली जाने वाले कार्यकर्ताओं की संख्या पहले ही बतानी होगी। ताकि परिवहन आदि की व्यवस्था की जा सके। बैठक में प्रदेश प्रभारी अविनाश पांडे ने कहा कि यह खुशी की बात है कि सत्ता और संगठन मिल कर काम कर रहा है।
रामलीला मैदान की क्षमता 60 हजार लोगों की है:
14 दिसम्बर को कांग्रेसी की रैली दिल्ली के रामलीला मैदान में होनी है। जानकार सूत्रों के अनुसार इस मैदान की अधिकतम क्षमता 60 हजार लोगों के बैठने की है, जबकि कांग्रेस की रैली में अकेले राजस्थान से ही पचास हजार लोगों के शामिल होने का लक्ष्य रखा गया है। ऐसी स्थिति में माना जा रहा है कि 14 दिसम्बर को दिल्ली की सड़कों पर कांग्रेस के कार्यकर्ता ही नजर आएंगे। रैली को श्रीमती सोनिया गांधी के साथ कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी भी संबोधित करेंगे।
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