राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष सीपी जोशी को होना चाहिए लोकसभा का अध्यक्ष जोशी लोकसभा के अध्यक्ष होंगे तो हंगामा करने वाले सांसदों की खैर नहीं। जोशी को सदन में पसंद नहीं है फालतू की बकवास
कांग्रेस सहित विपक्षी सांसदों के हंगामे की वजह से 8 से 10 मार्च तक लोकसभा नहीं चली। इससे पहले भी कई अवसर आए, जब छोटी-छोटी बातों को लेकर हंगामा हुआ और संसद को बार-बार स्थगित करना पड़ा। हालांकि लोकसभा अध्यक्ष ओम बिडला भरसक कोशिश करते हैं कि सदन को सुचारू तरीके से चलाया जाए, लेकिन विपक्षी दलों के सांसद वैल में आकर नारेबाजी करते हैं तो अध्यक्ष को मजबूर होकर सदन को स्थगित करना पड़ता है। सवाल उठता है कि आखिर लोकसभा को कैसा अध्यक्ष चाहिए? इसका जवाब राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष सीपी जोशी हैं। राजस्थान विधानसभा में 200 सदस्य है और प्रमुख विपक्षी दल भाजपा के 70 सदस्य हैं, जबकि सत्तारूढ़ कांग्रेस के करीब 100 सदस्य हैं। अध्यक्ष जोशी स्वयं भी कांग्रेस पार्टी से जुड़े रहे हैं, लेकिन विधानसभा की कार्यवाही जोशी के इशारे पर ही चलती है। अव्वल तो विधानसभा में हंगामा होता ही नहीं है। लेकिन जब कभी होता है तो जोशी खड़े हो जाते हैं। जोशी का तर्क होता है कि मेरे खड़े का मतलब है कि अध्यक्ष खड़े हो जाएं और जब अध्यक्ष खड़े होते है तब विधानसभा में किसी भी सदस्य को खड़े होने की हिमाकत नहीं करनी चाहिए। जोशी खड़े होकर जिन मुद्दों पर अपनी बात कहते हैं उसे देखते हुए सत्तारुढ़ पार्टी के मंत्री भी खामोश हो जाते हैं। जोशी का साफ कहना है कि वे नियम कायदे के तहत ही विधानसभा का संचालन करेंगे। जोशी मंत्रियों को भी फटकार लगाने में कोई कमी नहीं छोड़ते हैं। 10 मार्च को शिक्षा मंत्री गोविंदसिंह डोटासरा को भी जोशी ने फटकार लगाई। कोरोना को देखते हुए जोशी ने सरकार को निर्देश दिये थे कि स्कूलों के वार्षिकोत्सव आयोजित नहीं करवाए जाए। लेकिन फिर भी शिक्षा विभाग ने गाइड लाइन जारी कर वार्षिकोत्सव के आयोजन के परिपत्र जारी कर दिया। जोशी ने शिक्षामंत्री डोटासरा से पूछा कि आदेश के बाद किस अधिकारी ने वार्षिकोत्सव की अनुमति दी है। ऐसे अधिकारी के खिलाफ तुरन्त कार्यवाही की जाए। डोटासरा को विधानसभा में कहना पड़ा कि माननीय अध्यक्ष महोदय नहीं चाहते हैं तो स्कूलों के वार्षिकोत्सव नहीं होंगे। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि जोशी का अध्यक्ष के नाते कितना डर है। इसी सत्र में जब भाजपा विधायक वासुदेव देवनानी को बोलने नहीं दिया तो वे वैल में आकर चिल्लाने लगे। देवनानी की यह बात जोशी को नागवार लगी और उन्होंने संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल को निर्देश दिए कि देवनानी को सदन की दिनभर की कार्यवाही से निष्कासित करने का प्रस्ताव लाया जाए। चूंकि अध्यक्ष के निर्देश थे इसलिए धारीवाल ने प्रस्ताव रख दिया। हालांकि प्रतिपक्ष के नेता गुलाबचंद कटारिया ने प्रस्ताव को मंजूर नहीं करने का आग्रह किया, लेकिन जोशी अपनी जिद पर अड़े रहे और चार बार के विधायक देवनानी को सदन से निष्कासित कर दिया। जोशी ने भाजपा विधायकों के बहिष्कार की भी परवाह नहीं की। असल में लोकसभा में इन दिनों जो हालात है उनमें सीपी जोशी जैसा अध्यक्ष चाहिए। जोशी को अपनी विधानसभा में विपक्ष की बकवास जरा सी भी बर्दाश्त नहीं है। जब जोशी खड़े हो तो सभी सदस्यों को बैठना और चुप रहना अनिवार्य है। जबकि लोकसभा में अध्यक्ष शीर्षासन कर लें तब भी विपक्ष हंगामा करता रहता है। लोकसभा में कांग्रेस सहित जो विपक्षी सांसद हंगामा कर सदन नहीं चलने देते हैं, उन्हें एक बार राजस्थान विधानसभा की कार्यवाही देखनी चाहिए। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत भी जोशी की काबलियत के कायल हैं अच्छा हो कि स्वयं गहलोत ही कांग्रेस के सांसदों को विधानसभा की कार्यवाही देखने के लिए आमंत्रित करें। कांग्रेस के सांसद कुछ तो सीख लेंगे। लोकसभा को शांतिपूर्ण चलाने के लिए अध्यक्ष ओम बिरला कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन चौधरी की मिजाजपोसी भी करते हैं, लेकिन राजस्थान में किसी विपक्षी विधायक की ऐसी मिजाजपोसी की जरूरत नहीं है। जोशी का विधानसभा में इतना रुतबा है कि कोई बोलने की हिम्मत ही नहीं करता। 10 मार्च को ही जोशी ने कांग्रेस विधायकों से कहा कि आप चाहे तो मुझे अध्यक्ष पद से हटवा दें। ये वो ही सीपी जोशी है जो वर्ष 2008 के विधानसभा चुनावों में नाथद्वारा से मात्र एक वोट से हार कर देशभर में चर्चित हुए थे। इस चर्चित चुनावी हार के बाद जोशी ने भीलवाड़ा से कांग्रेस उम्मीदवार के तौर पर लोकसभा का चुनाव लड़ा और सांसद बनने के साथ ही डॉ. मनमोहन सिंह के मंत्री मंडल में पंचायती राज और ग्रामीण विकास के केबिनेट मंत्री बने। कुछ समय के लिए जोशी के पास रेल मंत्रालय का भी प्रभार रहा। 2014 में जोशी हारे तो उन्हें कांग्रेस का राष्ट्रीय महा सचिव बना दिया। यानि राहुल गांधी भी जोशी की कार्यशैली से अवगत हैं। S.P.MITTAL BLOGGER (12-03-2021)
Website- www.spmittal.in
Facebook Page- www.facebook.com/SPMittalblog
Follow me on Twitter- https://twitter.com/spmittalblogger?s=11
Blog- spmittal.blogspot.com
To Add in WhatsApp Group- 9602016852
To Contact- 9829071511