कांग्रेस का 70 वर्षों पुराना ढर्रा अब बदलेगा। एक ब्लॉक में तीन-चार मंडल भी होंगे। कांग्रेस संगठन को हाईटेक भी किया जाएगा।
कांग्रेस का तीन दिवसीय राष्ट्रीय चिंतन शिविर 13 मई से राजस्थान के उदयपुर में शुरू हो गया। शिविर के के शुरुआत के अवसर पर कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव अजय माकन ने माना कि कांग्रेस संगठन आज भी 70 वर्ष पुराने ढर्रे पर चल रहा है। कांग्रेस के सभी लोग चाहते हैं कि अब संगठन और पार्टी की कार्य प्रणाली में बदलाव किया जाए। उन्होंने कहा कि इस चिंतन शिविर में अनेक बदलाव किए जाने के निर्णय लिए जाएंगे। अगले कुछ ही दिनों में लोगों को कांग्रेस संगठन में नीचे से लेकर ऊपर तक बदलाव देखने को मिलेगा। माकन ने कहा कि मौजूदा समय में बूथ इकाई से लेकर ब्लॉक स्तर तक के बीच में कोई कड़ी नहीं है। इसलिए कार्यकर्ता और ब्लॉक के नेताओं के बीच में काफी अंतर है। पार्टी ने अब तय किया है कि एक ब्लॉक में तीन-चार मंडल भी होंगे। इन मंडलों के अधीन ही बूथ इकाइयों को बांटा जाएगा। मंडल बनाने का उद्देश्य बूथ इकाइयों को ज्यादा प्रभावी करना है। माकन ने कहा कि संगठन को हाईटेक भी बनाया जाएगा। सोशल मीडिया के कारण प्रचार के अनेक प्लेट फार्म तैयार हो गए हैं। कांग्रेस का प्रयास होगा कि सोशल मीडिया के माध्यम से भी अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचा जाए।
संवैधानिक संस्थाएं बेअसर:
कांग्रेस के चिंतन शिविर में 6 कमेटियां भी बनाई गई है। इन कमेटियों की रिपोर्ट भी शिविर में रखी जाएगी। राजनीतिक मामलों की कमेटी के अध्यक्ष और राज्यसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि मौजूदा समय में देश की संवैधानिक संस्थाएं बेअसर हो गई है। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने जो नीतियां अपनाई है उसकी वजह से जांच एजेंसियों का भी दुरुपयोग हो रहा है। ऐसी एजेंसियां निष्पक्ष और बिना दबाव के काम कर सकें इसके लिए शिविर में निर्णय लिए जाएंगे। उन्होंने कहा कि कांग्रेस देश में विपक्ष की प्रभावी भूमिका निभाता रहेगा। शिविर में 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव को लेकर बनाई जाने वाली रणनीति पर भी मंथन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में देश गंभीर चुनौतियों के दौर से गुजर रहा है। इसमें जहां आर्थिक चुनौतियां है वहीं कश्मीर की समस्या भी है। पूर्वोत्तर राज्यों में भी अलगाववाद की स्थिति बनी हुई है।
अध्यक्ष पद पर कोई मंथन नहीं:
जानकार सूत्रों के अनुसार कांग्रेस के तीन दिवसीय चिंतन शिविर में राष्ट्रीय अध्यक्ष के पद को लेकर कोई मंथन नहीं होगा। यानी 2024 के लोकसभा चुनाव तक श्रीमती सोनिया गांधी ही कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष बनी रहेंगी। सूत्रों ने बताया कि चिंतन शिविर में अध्यक्ष का कोई विषय ही नहीं है। चूंकि इन दिनों देश भर में संगठन चुनाव की प्रक्रिया चल रही है, इसलिए अध्यक्ष के पद पर कोई निर्णय नहीं लिया जा सकता। चुनाव प्रक्रिया के बाद ही राष्ट्रीय अध्यक्ष का निर्णय होगा।
S.P.MITTAL BLOGGER (13-05-2022)
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