उदयपुर की जिस होटल में कांग्रेस का चिंतन शिविर हो रहा है, उस होटल के मालिक को राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का संरक्षण है। होटल में अवैध निर्माण। पोल खोलता, इससे पहले ही मुझे उदयपुर से खदेड़ दिया-सांसद किरोड़ी लाल मीणा।

13 मई को राज्यसभा सांसद डॉ. किरोड़ी लाल मीणा ने आरोप लगाया कि उदयपुर की जिस होटल में कांग्रेस के राष्ट्रीय चिंतन शिविर के कार्यक्रम हो रहे हैं, उस होटल मालिक को राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का संरक्षण है। इन संरक्षण के मेरे पास सबूत हैं। मैं इन सबूतों के साथ उदयपुर में प्रेस कॉन्फ्रेंस करना चाहता था, लेकिन गहलोत की पुलिस ने मुझे प्रेस कॉन्फ्रेंस नहीं करने दी। 12 मई को मुझे उदयपुर से जबरन खदेड़ दिया गया। पुलिस ने मेरे साथ जो दुर्व्यवहार किया उसे जनता कभी माफ नहीं करेगी। यदि अशोक गहलोत ने कुछ भी गलत नहीं किया है तो फिर मुझे उदयपुर से क्यों खदेड़ा? मीणा ने आरोप लगाया कि उदयपुर में यह होटल पिछोला झील के किनारे नाले पर गलत तरीके से बनी है। होटल का निर्माण भी अवैध हुआ है, लेकिन होटल मालिक को मुख्यमंत्री का संरक्षण है, इसलिए प्रशासन कोई कार्यवाही नहीं करता है। जब मैं ऐसे कारनामों की पोल खोलता हूं तो सीएम गहलोत कहते हैं कि मैं धमाल कर रहा हंू। यदि सीएम की जर में यह धमाल है तो मैं ऐसे धमाल करता रहंूगा। गहलोत अक्सर संविधान की दुहाई देते हैं, लेकिन 12 मई को गहलोत ने ही संविधान की धज्जियां उड़ाई। लोकतंत्र में बोलने की सभी को आजादी है। मैं जानना चाहता हूं कि 12 मई को किस कानून के तहत पुलिस ने मुझे उदयपुर से खदेड़ा। मैं चाहता तो उदयपुर में आंदोलन कर सकता था, लेकिन मैंने कानून अपने हाथ में नहीं लिया। अशोक गहलोत समझते हैं कि पुलिस के माध्यम से मेरा मुंह बंद करवा देंगे, तो यह उनकी गलतफहमी है। मैंने रीट पेपर घोटाले में भी गहलोत सरकार के दो मंत्रियों पर गंभीर आरोप लगाए थे, आज उसी का नतीजा है कि रीट में हुए करोड़ों रुपए के लेन देने की जांच ईडी कर रही है। मीणा ने कहा कि वे स्वयं आदिवासी वर्ग से संबंध रखते हैं, इसलिए वे उदयपुर क्षेत्र के आदिवासियों की समस्याओं की ओर भी कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी का ध्यान आकर्षित करना चाहता था, लेकिन गहलोत की पुलिस ने आदिवासियों की समस्या भी नहीं रखने की। 
पुष्कर वाली होटल में भी अतिक्रमण का आरोप:
सांसद मीणा ने उदयपुर की जिस होटल का जिक्र किया है, उसी होटल के मालिक की पांच सितारा होटल पुष्कर में भी है। आरोप है कि यह होटल खरीदी गई भूमि से ज्यादा पर बनी है। इस होटल के अतिक्रमण के कारण पुष्कर सरोवर के फीडर को भी छोटा करना पड़ा है। पूर्व में पुष्कर नगर पालिका ने होटल मालिक को नोटिस भी दिया था। लेकिन राजनीतिक रसूकातों की वजह से सारा मामला दब गया। अब अब कांग्रेस का चिंतन शिविर ही इस होटल में हो रहा है तो फिर कोई कार्यवाही होने का सवाल ही नहीं उठता है। डॉ. मीणा के आरोप तो बहुत ही गंभीर है। 

S.P.MITTAL BLOGGER (13-05-2022)
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