सीएम और डिप्टी सीएम से विमर्श के बाद भी मंत्री की शपथ लेने वाले विधायकों के नाम लीक नहीं हो रहे। संभव: एमपी के बाद होगा राजस्थान के मंत्रिमंडल का विस्तार।
राजस्थान विधानसभा चुनाव के नतीजे भी 3 दिसंबर को आ गए थे। नतीजों के बाद भजनलाल शर्मा को सीएम व दीया कुमारी और डॉ. प्रेमचंद बैरवा को डिप्टी सीएम की शपथ दिलाई गई, लेकिन अब 20 दिन गुजर जाने के बाद भी मंत्रिमंडल का विस्तार नहीं हो पाया है। विस्तार नहीं होने की वजह से ही सीएम और दोनों डिप्टी सीएम को भी विभाग नहीं मिले हैं। इस बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से दोबारा मंत्रिमंडल के विस्तार पर विमर्श हो चुका है। यह विमर्श सीएम और डिप्टी सीएम तीनों ने एक साथ मिलकर किया है, लेकिन इसके बाद भी जिन विधायकों को मंत्री बनाया जाना है, उनके नाम मीडिया में लीक नहीं हो रहे हैं। अभी जो नाम चल रहे हैं, वे सभी मीडिया की उपज है। यह सही है कि मंत्री बनने वाले विधायकों के नाम सीएम के साथ साथ दोनों डिप्टी सीएम को भी पता है। इन तीनों के मित्रों के कई बार नाम जानने की कोशिश की, लेकिन सफलता नहीं मिल पाई है। यही वजह है कि किसी अखबार में कुछ नाम तो किसी अन्य अखबार में दूसरे नाम छपते रहते हैं। सोशल मीडिया तो भाजपा के सभी विधायकों को मंत्री बनवा रहा है। 21 दिसंबर को विधानसभा अध्यक्ष के निर्वाचन के बाद विधानसभा में ही भाजपा के 24 विधायकों ने सीएम भजनलाल से मुलाकात की। एक एक कर जब यह मुलाकात हो रही थी, तब खबर फैल गई कि जिन विधायकों को मंत्री बनाया जाना है उनसे सीएम की मुलाकात हो रही है। टीवी चैनलों पर इन विधायकों के नाम और फोटो भी प्रसारित हो गए, लेकिन इस खबर की भी हवा निकल गई है। सूत्रों की माने तो सीएम और डिप्टी सीएम से नामों पर विमर्श तो हुआ है, लेकिन राष्ट्रीय नेतृत्व ने अभी तक भी एक भी नाम पर स्वीकृति नहीं दी है। कहा जा रहा है कि जिस प्रकार सीएम और डिप्टी सीएम के नाम की पर्ची ऐन मौके पर केंद्रीय पर्यवेक्षक राजनाथ सिंह ने पूर्व सीएम वसुंधरा राजे को दी उसी प्रकार मंत्रियों की सूची भी एक दिन पहले ही सीएम भजनलाल शर्मा को दी जाएगी। मंत्रिमंडल के विस्तार के बगैर ही सीएम भजनलाल गंभीरता और मेहनत के साथ अपना दायित्व निभा रहे हैं। 21 दिसंबर को सीएम ने दोपहर एक बजे तक दिल्ली में पीएम मोदी सहित कई नेताओं से विमर्श किया और फिर ढाई बजे जयपुर में विधानसभा में पहुंच गए। वासुदेव देवनानी के अध्यक्ष पद पर निर्वाचन के बाद सीएम ने विधानसभा में अपने कक्ष में विधायकों से मुलाकात की और 19 जनवरी से बजट सत्र का निर्णय लिया। रात 8 बजे बाद सीएम सचिवालय स्थित अपने दफ्तर में पहुंचे जहां देर रात तक अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। सीएम पद की शपथ लेने के बाद से ही भजनलाल रोजाना 18 घंटे से भी ज्यादा काम कर रहे हैं।
एमपी के बाद विस्तार:
पीएम नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के कदमों पर नजर रखने वालों का मानना है कि मध्यप्रदेश में मंत्रिमंडल के विस्तार के बाद राजस्थान में विस्तार होगा। मुख्यमंत्री की शपथ में भी देखा गया। सबसे पहले छत्तीसगढ़ और फिर मध्यप्रदेश में शपथ हुई। आखिर में 15 दिसंबर को राजस्थान में मुख्यमंत्री और दो डिप्टी सीएम की शपथ हुई। तीनों राज्यों में मुख्यमंत्री और डिप्टी सीएम की एकसी प्रक्रिया रही। अब 22 दिसंबर को छत्तीसगढ़ में मंत्रिमंडल का विस्तार हुआ है, इसके बाद मध्यप्रदेश और फिर राजस्थान का नंबर आएगा।
S.P.MITTAL BLOGGER ( 22-12-2023)
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