15 लाख से भी ज्यादा पाठकों को समर्पित है 5500वां ब्लॉग।
ऐसा स्नेह और गुस्सा बना रहे।
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11 मई 2019 को मेरा 5500वां ब्लॉग सोशल मीडिया के करीब पन्द्रह लाख से भी ज्यादा पाठकों को समर्पित है। मेरे पास पाठकों की संख्या के लिए किसी सरकारी एजेंसी का सर्टीफिकेट तो नहीं है, लेकिन वाट्सएप ग्रुप, वेबसाइट, फेसबुक पेज, ब्लॉक स्पॉट आदि सोशल मीडिया के विभिन्न प्लेट फार्मों से प्राप्त फीडबैक और आंकड़ों से पता चलता है कि मेरे ब्लॉग रोजाना 15 लाख से भी ज्यादा पाठकों तक पहुंच रहे हैं। इसमें किसी पाठक द्वारा अन्य समूहों में फॉरवर्ड के आंकड़े शामिल नहीं है और वेब चैनलों द्वारा साहूकारी और चोरी चकारी से लिए गए ब्लॉग के आंकड़े भी शामिल नहीं है। पर इतना जरूर है कि अजमेर जिले में सभी प्रकार के मीडिया के पाठकों की संख्या से ज्यादा पाठक मेरे ब्लॉग के हैं। अजमेर जिले में तो गांव ढाणी तक वाट्सएप के जरिए ब्लॉग पहुंच रहे हैं, जबकि राजस्थान के शहरी क्षेत्रों में रोजाना मेरे ब्लॉग पढ़े जाते हैं। यूपी, दिल्ली, एमपी, हरियाणा, पंजाब, हिमाचल आदि हिन्दी भाषी राज्यों में भी ब्लॉग की पहुंच है। जिस प्रकार पाठकों को सुबह अखबार की तलब होती है उसी प्रकार शाम को चार बजे मेरे ब्लॉग का इंतजार रहता है। जब कभी किसी ब्लॉग में कम्प्यूटर की वजह से कोई त्रुटि हो जाती है तो मुझे पाठकों के गुस्से का भी सामना करना पड़ता है। असल में पाठकों को यह उम्मीद होती है कि मेरे ब्लॉग में कोई गलती नहीं होगी। मेरे लिए यह वाकई संतोष की बात है कि पाठक इतना भरोसा करते हैं। मेरा पूरा प्रयास होता है कि हर ब्लॉग सही तथ्यों पर लिखूं। अधिकांश पाठक मेरे लिखे की प्रशंसा भी करते हैं, जो मेरा आत्म विश्वास बढ़ाते हैं। जब पाठक किसी विचार को लेकर आलोचना करते हैं तब भी मुझे सीखने को मिलता है। मैं पहले भी लिख चुका हूं कि रोजाना लिखना बहुत कठिन होता है और जब आप करंट टॉपिक पर लिख रहे हो तो कठिनाई और बढ़ जाती है। लेकिन इसे ईश्वर की कृपा ही कहा जाएगा कि लाख कठिनाइयों के बाद भी मैं प्रतिदिन चार-पांच ब्लॉग लिखता हंू। तकनीकी दृष्टि से ब्लॉग लाखों पाठकों तक पहुंचाने में मेरी पत्नी श्रीमती अचला मित्तल का भी सहयोग रहता है। मुझे उम्मीद है कि पाठकों का स्नेह मेरे प्रति इसी तरह बना रहेगा।